हेलीकॉप्टर चिनूक ने की केदारनाथ में लैंडिंग, साल 2018 में क्रैश हुए एमआई-17 का मलबा साथ ले गया दिल्ली

रुद्रप्रयाग : शनिवार सुबह केदारनाथ में भारतीय वायुसेना के मालवाहक हेलीकॉप्टर चिनूक ने हेलीपैड में सुरक्षित लैंडिंग की। चिनूक केदारनाथ से साल 2018 में क्षतिग्रस्त हुए सेना के एमआइ-17 हेलीकॉप्टर का करीब 3 टन भारी बॉडी को लेकर दिल्ली रवाना हो गया है।
वायु सेना पिछले कई समय से केदारनाथ में वीआईपी हेलीपैड के पास क्षतिग्रस्त हेलीकॉप्टर की बॉडी को ले जाने के प्रयास में जुटी हुई थी। पुर्ननिर्माण कार्य के समय भारी सामान ले जाने के कारण केदारनाथ में साल 2018 में एमआइ-17 हेलीकॉप्टर दुर्घटनाग्रस्त हो गया था। हेलीकॉप्टर का इंजन वायुसेना पहले ही ले जा चुकी है।
बीते दिनों में जिला आपदा प्रबंधन प्राधिकरण (डीडीएमए) ने केदारनाथ में हेलीपैड तैयार कर लिया था। इसके द्वारा वहां पुनर्निर्माण कार्यों में तेजी लाने के लिए भारी मशीनें पहुंचाई जानी हैं। वायु सेना की टीम ने इस हेलीपैड का निरीक्षण किया था। केदारनाथ में दूसरे चरण के पुनर्निर्माण का कार्य अक्टूबर महीने से प्रस्तावित हैं। इसके लिए टेंडर भी जारी किए जा चुके हैं।
पिछले दिनों मुख्य सचिव ओमप्रकाश ने केदारनाथ में व्यवस्थाओं का जायजा लिया था। इस दौरान उन्होंने डीडीएमए को दस दिन के अंदर हेलीपैड तैयार करने के निर्देश दिए थे। साल 2015 में एमआइ-26 हेलीकॉप्टर उतारने के लिए बने हेलीपैड का विस्तार कर यह हेलीपैड तैयार किया गया है। इसके एक हिस्से से गढ़वाल मंडल विकास निगम के 45 कॉटेज हटाए गए। इसके लिए 50 मीटर चौड़ा व सौ मीटर लंबा प्लेटफार्म तैयार किया गया है। 

हेलीकॉप्टर चिनूक की विशेषताएं :
यह 11 टन तक भारी सामान ले जाने में सक्षम है। 
यह ऊंचे और दुर्गम इलाकों तक भारी सामान पहुंचाने में भी सक्षम है। 
हर मौसम और दिन-रात में उड़ान भर सकता है। 
इसमें दो रोटर इंजन लगे हैं। 

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